दिल्ली विधानसभा चुनाव: राजनीतिक बयानबाजी और आरोप-प्रत्यारोप तेज

Delhi Assembly Election: Political rhetoric and allegations and counter-allegations intensify

नई दिल्ली: दिल्ली विधानसभा चुनाव की तारीखों के ऐलान के बाद से राजनीतिक बयानबाजी और स्टंटों का सिलसिला तेज हो गया है। एक तरफ जहां भारतीय जनता पार्टी (BJP) अरविंद केजरीवाल के घर को लेकर आम आदमी पार्टी (AAP) के राष्ट्रीय संयोजक पर निशाना साध रही है, वहीं दूसरी ओर दिल्ली के पूर्व मुख्यमंत्री अरविंद केजरीवाल ने भाजपा पर फर्जी वोटर लिस्ट को लेकर गंभीर आरोप लगाए हैं। केजरीवाल ने अपने बयान में दावा किया कि भाजपा ने अपने सात सांसदों को फर्जी वोटर बनाने का टारगेट दिया है।

केजरीवाल ने क्या आरोप लगाए?
अरविंद केजरीवाल ने बुधवार को अपने एक एक्स पोस्ट में बिना नाम लिए भाजपा पर आरोप लगाया कि पार्टी ने अपने सात सांसदों को आगामी दिल्ली विधानसभा चुनावों के लिए फर्जी वोटर बनाने का टारगेट सौंपा है। उन्होंने कहा कि इस मामले को लेकर दिल्ली सरकार की मुख्यमंत्री आतिशी ने मुख्य चुनाव आयुक्त से मिलने का समय मांगा है। केजरीवाल ने पोस्ट में लिखा, “सूत्रों के मुताबिक गाली-गलौज पार्टी ने अपने सात सांसदों को अगले कुछ दिनों में नई दिल्ली विधानसभा में फर्जी वोट बनवाने के लिए टारगेट दिए हैं। देखते हैं अगले कुछ दिनों में कितने नए वोट बनाने के आवेदन आते हैं। सब लोग इस पर नज़र रखें।”

मुख्य चुनाव आयुक्त का जवाब
मुख्य चुनाव आयुक्त राजीव कुमार ने मंगलवार को दिल्ली में मतदाताओं का नाम हटाए जाने के आरोपों का खंडन किया। उन्होंने कहा, “भारतीय मतदाता बेहद जागरूक हैं। चुनावी प्रक्रिया को लेकर अब भी कुछ कहानियां चल रही हैं, लेकिन इस पर कोई संदेह नहीं है। लगभग 70 चरणों में चुनाव प्रक्रिया चलती है, जिसमें राजनीतिक दल और उम्मीदवार हमारे साथ रहते हैं। जो भी दावे और आपत्तियां आती हैं, उन्हें सभी के साथ साझा किया जाता है।”

राजीव कुमार ने यह भी स्पष्ट किया कि बिना फॉर्म 7 के कोई विलोपन नहीं किया जा सकता और चुनावी प्रक्रिया में ईवीएम के किसी प्रकार की अविश्वसनीयता या खामी का कोई सवाल नहीं है। उन्होंने यह भी कहा, “ईवीएम में अवैध वोटों का कोई सवाल ही नहीं है, और कोई भी धांधली संभव नहीं है।”

सभी पक्षों का आरोप-प्रत्यारोप
दिल्ली विधानसभा चुनाव के पहले भाजपा और आप के बीच आरोप-प्रत्यारोप का सिलसिला तेज हो गया है। दोनों दल एक-दूसरे पर चुनावी धांधली के आरोप लगा रहे हैं, जिससे राजनीतिक माहौल और भी गर्मा गया है। केजरीवाल के आरोपों के बाद भाजपा ने इसे सिरे से नकारा है और चुनाव आयोग के निर्णयों को सही ठहराया है।

दिल्ली चुनाव में इन आरोपों और जवाबों का असर चुनावी रणनीतियों पर साफ नजर आ रहा है, और यह देखा जाएगा कि आगामी दिनों में इन बयानबाजी का कितना असर मतदाताओं पर पड़ता है।

ये खबरें भी अवश्य पढ़े

Leave a Comment